भारतीय सेना ने गुरुवार को ब्रिगेडियर मोहम्मद उस्मान को श्रद्धांजलि अर्पित की। ब्रिगेडियर उस्मान 1947-48 के भारत-पाकिस्तान युद्ध में आज ही के दिन नौशेरा की भीषण लड़ाई में शहीद हुए थे। उनकी पुण्यतिथि पर दिल्ली के जामिया मिलिया इस्लामिया के पास एक कब्रिस्तान में स्थित उनकी कब्र पर पुष्पांजलि अर्पित की गई। जम्मू और कश्मीर में नौशेरा की लड़ाई में ब्रिगेडियर मोहम्मद उस्मान के वीरतापूर्ण प्रदर्शन के कारण उन्हें ‘नौशेरा का शेर’ की पदवी मिली। देश के प्रति सेवाओं के लिए ब्रिगेडियर मोहम्मद उस्मान को मरणोपरांत महावीर चक्र से सम्मानित किया गया।

भारतीय सेना के ऑपरेशनल लॉजिस्टिक्स एंड स्ट्रैटेजिक मूवमेंट के महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल पुष्पेंद्र सिंह और पैराशूट रेजिमेंट के कर्नल ने पुष्पांजलि अर्पित की। एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि कई अन्य सेवारत और सेवानिवृत्त सेना अधिकारी इस कार्यक्रम में शामिल हुए और उन्हें श्रद्धांजलि दी। भारतीय सेना ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, “नौशेरा का शेर ब्रिगेडियर उस्मान पैराशूट रेजिमेंट जम्मू और कश्मीर 03 जुलाई 1948 वीरता की प्रतिमूर्ति, ब्रिगेडियर एम उस्मान ने नौशेरा की भीषण लड़ाई में सामने से नेतृत्व किया। उनके साहस और प्रेरणादायक नेतृत्व ने भारतीय सेना के पक्ष में रुख मोड़ दिया। महावीरचक्र (मरणोपरांत) से सम्मानित ब्रिगेडियर एम उस्मान को हम अपनी श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं।”

सेना ने ब्रिगेडियर उस्मान द्वारा जारी 16 मार्च 1948 के आदेश वाले एक अभिलेखीय दस्तावेज की एक छवि भी शेयर की, जो उस समय 50 (I) पैरा ब्रिगेड के कमांडर थे। वह 1947-48 के युद्ध के दौरान जम्मू और कश्मीर में झंगर और नौशेरा पर फिर से कब्जा करने के लिए प्रसिद्ध हुए। एक अधिकारी ने बताया कि ब्रिगेडियर उस्मान ने 3 जुलाई 1948 को नौशेरा में अपने प्राण न्यौछावर कर दिए। उन्होंने बताया कि उनका राजकीय अंतिम संस्कार किया गया था, जिसमें तत्कालीन गवर्नर जनरल लॉर्ड माउंटबेटन, तत्कालीन प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू और तत्कालीन केंद्रीय मंत्री मौलाना अब्दुल कलाम आज़ाद और शेख अब्दुल्ला शामिल हुए थे।

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सेना ने बताया कि ब्रिगेडियर उस्मान ने भारतीय सेना की सर्वोच्च परंपराओं के अनुरूप व्यक्तिगत साहस, नेतृत्व के असाधारण गुणों और कर्तव्य के प्रति समर्पण का उदाहरण पेश किया और उन्हें महावीर चक्र से सम्मानित किया गया। सेना ने एक्स पर एक अन्य पोस्ट में लिखा, “नौशेरा का शेर ब्रिगेडियर एम उस्मान एमवीसी (पी) के सम्मान में जामिया मिलिया इस्लामिया विश्वविद्यालय कब्रिस्तान (नई दिल्ली) में पुष्पांजलि समारोह आयोजित किया गया। पैराशूट रेजिमेंट के कर्नल लेफ्टिनेंट जनरल पुष्पेंद्र सिंह ने सेवारत कर्मियों और दिग्गजों के साथ ‘नौशेरा के शेर’ को श्रद्धांजलि दी। गहरे सम्मान और स्मरण के साथ, उनकी परपोती सना फिरोजुद्दीन और जामिया मिलिया इस्लामिया विश्वविद्यालय के कुलपति द्वारा भी पुष्पांजलि अर्पित की गई।”

ब्रिगेडियर उस्मान का कनेक्शन मशहूर गैंगस्टर मुख्तार अंसारी से भी है। बता दें कि ब्रिगेडियर उस्मान मुख्तार अंसारी के नाना लगते थे। हालांकि मुख्तार अंसारी ने क्राइम का रास्ता चुना जबकि ब्रिगेडियर उस्मान भारतीय सेना के जांबाज ऑफिसर थे और उनकी बहादुरी के किस्से आज भी सुनाए जाते हैं।