जिंदगी की मसरूफियत, मोबाइल एडिक्शन, खराब लाइफस्टाइल, आर्थिक तंगी और बढ़ती जिम्मेदारियां तनाव का बोझ बढ़ाती हैं। बढ़ता तनाव आपके खिले-खिले चेहरे को ग्रहण लगा देता है। तनाव आपको उदास, जिंदगी से मायूस और दिमागी तौर पर तंग बना देता है। आपको सोच समझ को अपनी गिरफ्त में ले लेता है। ये तनाव ही है कि आप खुद से प्यार करना भूल जाते हैं, आप पहनना, घूमना और फिरना भूल जाते हैं। तनाव को अगर कम नहीं किया जाए तो ये आपकी मानसिक सेहत को बिगाड़ देता है। ये तनाव आपकी सोचने और समझने की क्षमता को प्रभावित करता है।
आप जानते हैं कि आप सिर्फ दो घंटे तनाव लेते हैं तो आपकी बॉडी पर कैसा असर होता है? कुछ लोग ऐसे हैं जो दो घंटे नहीं बल्कि पूरा-पूरा दिन, हफ्ते और महीनों तक तनाव में रहते हैं। कई रिसर्च में ये बात साबित हो चुकी है कि बढ़ता तनाव आपकी बौद्धिक क्षमता को प्रभावित करता है। आइए जानते हैं कि सिर्फ दो घंटे तनाव में रहने पर बॉडी में कैसा असर होता है? कैसे इस समस्या से बचें और किस तरह बॉडी में बढ़ाएं हैप्पी हॉर्मोन।
अगर आप सिर्फ दो घंटे तनाव में रहते हैं तो आपकी बॉडी में कोर्टिसोल (Cortisol) का स्तर बढ़ता है जिसे स्ट्रेस हार्मोन कहा जाता है। जितनी देर आप तनाव में होते हैं उतनी देर शरीर fight or flight प्रतिक्रिया में चला जाता है और एड्रिनल ग्लैंड्स से कॉर्टिसोल नामक हार्मोन निकलता है। लंबे समय तक तनाव में रहने से कॉर्टिसोल हॉर्मोन मस्तिष्क, पाचन तंत्र, नींद और इम्यूनिटी को प्रभावित करता है।
2 घंटे के तनाव में भी कॉर्टिसोल स्तर काफी बढ़ जाता है,अगर आप इससे ज्यादा समय तनाव में रहते हैं तो सोचिए ये आपकी बॉडी को किस तरह तहस-नहस करता है। ज्यादा समय तनाव में रहने से ब्लड प्रेशर हाई होता है और हार्ट रेट तेज होती है जिससे दिल के रोगों का जोखिम बढ़ता है। तनाव इम्यूनिटी को कमजोर करता है, मेमोरी और फोकस करने की क्षमता को कमजोर करता है। तनाव पाचन को प्रभावित करता है।
इकोनॉमिक टाइम्स की खबर के मुताबिक तनाव को कंट्रोल करना चाहते हैं और हैप्पी हॉर्मोन को रिलीज करना चाहते हैं तो आप डाइट का ध्यान रखें। डाइट में कुछ खास फूड्स का सेवन करें। केला एक ऐसा फल है जो आपको तनाव से मुक्ति दिला सकता है। केला विटामिन B6 से भरपूर होता हैं, जो मूड को बेहतर करता है। केला खुशी महसूस कराने वाले न्यूरोट्रांसमीटर जैसे सेरोटोनिन और डोपामिन के संश्लेषण (synthesis) में मदद करता हैं। इनमें नेचुरल शुगर और फाइबर होता है जो बॉडी को एनर्जेटिक और हेल्दी रखती है।
अगर आप चाहते हैं कि तेजी से डोपामाइन रिलीज हो और आपका मूड बेहतर बनें तो आप डाइट में डार्क चॉकलेट का सेवन करें। डार्क चॉकलेट खाने से एंडॉर्फिन का स्तर तेजी से बढ़ता है और आप खुशी महसूस करते हैं। डार्क चॉकलेट न केवल स्वादिष्ट लगती है बल्कि मस्तिष्क में एंडोर्फिन और सेरोटोनिन को बढ़ाती है। इसमें फ्लेवोनोइड्स और कैफीन भी होता हैं, जो मूड और संज्ञानात्मक कार्य को बेहतर बना सकता हैं।
अगर आप चाहते हैं कि आपका ब्रेन हेल्दी रहें, तनाव कंट्रोल रहे और आपका दिमाग रफ्तार से काम करें तो आप अखरोट और नट्स का सेवन करें। नट्स और सीड्स में ट्रिप्टोफैन होता है। इसमें मैग्नीशियम भी भरपूर मात्रा में होता है। इन खनिज की कमी से अक्सर मूड खराब रहता है और मिजाज़ में चिड़चिड़ापन होता है। आप रोजाना मुट्टी भर नट्स और सीड्स का सेवन करें तो आपको फायदा होगा।
कॉफी का सेवन करने से न सिर्फ आपकी सुस्ती और थकान कंट्रोल होती है बल्कि ये आपका मूड भी बदल सकती है। रोजाना एक से दो बार कॉफी पीने से तनाव कंट्रोल रहता है। कैफीन युक्त कॉफी मस्तिष्क में डोपामाइन और एडेनोसाइन रिसेप्टर्स को बढ़ाती है, जिससे सतर्कता और मूड में सुधार हो सकता है। कॉफी तनाव को कंट्रोल करती है और आपकी बॉडी में हैप्पी हॉर्मोन भी बढ़ाती है।
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