इंग्लैंड और भारत के बीच टेस्ट सीरीज महान जोड़ी सचिन तेंदुलकर और जेम्स एंडरसन के नाम पर खेली जाएगी। तेंदुलकर-एंडरसन ट्रॉफी का अनावरण पांच मैच की सीरीज से पहले किया जाएगा, जो 20 जून को हेडिंग्ले में शुरू होगी। महान खिलाड़ी सचिन तेंदुलकर 15,921 रन बनाकर टेस्ट इतिहास में सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ी हैं। 52 साल के सचिन तेंदुलकर ने 1989 से 2013 के बीच 200 टेस्ट मैच खेले।

जेम्स एंडरसन इंग्लैंड के सर्वकालिक सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज हैं। वह 704 विकेट लेकर टेस्ट क्रिकेट में सबसे सफल तेज गेंदबाज हैं। पिछली गर्मियों में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट से संन्यास लेने के बाद से 42 वर्षीय जेम्स एंडरसन इंग्लैंड के गेंदबाजी सलाहकार के रूप में काम कर रहे हैं। वह अभी लंकाशायर के लिए काउंटी क्रिकेट खेल रहे हैं। उन्होंने ओल्ड ट्रैफर्ड में एक साल के अनुबंध विस्तार पर हस्ताक्षर किए हैं।

सचिन तेंदुलकर और जेम्स एंडरसन ने एक-दूसरे के खिलाफ 14 टेस्ट मैच खेले हैं। इस दौरान जेम्स एंडरसन ने सचिन तेंदुलकर को 9 बार आउट किया। कोई भी गेंदबाज सचिन तेंदुलकर को जेम्स एंडरसन से ज्यादा बार आउट नहीं कर पाया। जेम्स एंडरसन का विराट कोहली और शुभमन गिल के खिलाफ भी शानदार रिकॉर्ड है। जेम्स एंडरसन ने विराट कोहली को टेस्ट क्रिकेट में 7 और शुभमन गिल को 6 बार आउट किया है।

भारत बनाम इंग्लैंड टेस्ट सीरीज को तेंदुलकर-एंडरसन ट्रॉफी नाम दिए जाने की जानकारी बीबीसी ने अपनी रिपोर्ट में दी। उसके अनुसार, इस संबंध में इंग्लैंड और वेल्स क्रिकेट बोर्ड ने टिप्पणी करने से इनकार कर दिया। सचिन तेंदुलकर और जेम्स एंडरसन को इस तरह से सम्मानित करने का कदम क्रो-थोर्प ट्रॉफी को दर्शाता है, जिसका नाम न्यूजीलैंड के पूर्व बल्लेबाज मार्टिन क्रो और इंग्लैंड के ग्राहम थोर्प के नाम पर रखा गया है। पिछले साल इंग्लैंड के न्यूजीलैंड दौरे के दौरान पहली बार यह प्रतियोगिता हुई थी, जिसमें इंग्लैंड ने टेस्ट सीरीज 2-1 से जीती थी।

इंग्लैंड और भारत के बीच टेस्ट सीरीज पहले पटौदी ट्रॉफी के लिए खेली गई थी। उसका नाम पटौदी परिवार के नाम पर रखा गया था। पटौदी के नवाब ने (मोहम्मद इफ्तिखार अली खान पटौदी) 1930 और 40 के दशक में इंग्लैंड और भारत दोनों के लिए खेला, जबकि उनके बेटे मंसूर अली खान पटौदी (सैफ अली खान के पिता) ने 1960 और 70 के दशक में भारत के लिए खेला। वह भारत के सबसे महान कप्तानों में से एक थे। पटौदी परिवार को ट्रॉफी का नाम बदलने के बारे में जानकारी दी गई है।

पटौदी ट्रॉफी का मौजूदा विजेता इंग्लैंड है। भारत और इंग्लैंड के बीच 2021 और 2022 में खेली गई टेस्ट सीरीज 2-2 से ड्रॉ रही थी। चूंकि पिछली सीरीज इंग्लैंड की टीम ने ही जीती थी, इसलिए ट्रॉफी अभी उसके पास ही है।

दोनों देशों के बीच भारत में टेस्ट सीरीज एंथनी डी मेलो ट्रॉफी के लिए खेली जाती है। इस ट्रॉफी का नाम पूर्व भारतीय क्रिकेट प्रशासक के नाम पर रखा गया है। यह स्पष्ट नहीं है कि तेंदुलकर-एंडरसन ट्रॉफी डी मेलो ट्रॉफी की जगह लेगी या नहीं। पिछले साल 4-1 से सीरीज जीतने के बाद भारत ने डी मेलो ट्रॉफी अपने नाम कर ली है।